
धरती से करीब 29 हजार फीट की ऊंचाई पर उड़ सकने की क्षमता रखने वाले ‘बार हेडेड गूज’ इन दिनों वापसी की उड़ान भर रहे हैं। इन पक्षियों को डोंगरगढ से लगभग 40 किलोमीटर दूर बाघनदी जलाशय में कुछ घंटों के लिए आराम करते रविवार को इन पक्षियों को देखा गया।

जिले के पक्षी प्रेमियों के लिए हैरत और बेहद रोमांचकारी मौका है क्योंकि पिछले दिनों छत्तीसगढ़ में पहली बार डोंगरगढ़ इलाके में यूरेशियन क्रेन भी देखने को मिला था। बागनदी जलाशय में करीब 50 से अधिक हेडेड गूज’ का झुंड आराम करता दिखाई दिया। यह पहला अवसर है, जब ‘बार हेडेड गूज’ का इतना बड़ा झुंड एक साथ जिले की सरहद पर आराम करने व भोजन की तलाश में उतरा ये पक्षि तिब्बत, रूस, मंगोलिया से होकर छत्तीसगढ़ पहुंच रहे है।

पक्षी विशेषज्ञ रवि नायडू के मुताबिक ‘बार हेडेड गूज’ दलदली क्षेत्रों, खेती के आसपास वाली जगहों, पानी व घास के नजदीक, झीलों, पाहड़ों व पानी के टैंकों के आसपास में देखे जा सकते हैं।

ये समूह में रहते हैं। ये पक्षि रिकॉर्ड 29 हजार फीट की ऊंचाई पर उड़ान भरकर तिब्बत, कजाकिस्तान, रूस, मंगोलिया से छत्तीसगढ़ में पहुंचते हैं।